Tuesday, July 21st, 2020

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Posted by: | Posted on: July 21, 2020

यूनाइटेड किंगडम से करें डॉक्टर बनने की पढ़ाई- अलीशा धंजल

फरीदाबाद(विनोद वैष्णव)|फरीदाबाद की जानी-मानी करियर कोच और एडमिशन वर्ल्ड की निर्देशक अलीशा धंजल ने डॉक्टर बनने की पढ़ाई को लेकर 5th सेशन में ऑनलाइन वेबिनार का आयोजन किया | अलीशा धंजल ने यूनाइटेड किंगडम में अमेरिकन यूनिवर्सिटी ऑफ कैरेबियन स्कूल ऑफ मेडिसिन के डायरेक्टर विलियम मसिवर से खास बातचीत करें ! इस बातचीत में अलीशा धंजल ने एमबीबीएस की पढ़ाई को लेकर ऐडमिशन प्रोसेस, प्रैक्टिस आदि को काफी सारे सवाल जवाब किए !ए यू सी के डायरेक्टर विलियम मसिवर ने बताया कि बहुत सारे छात्रों का सपना होता है कि वह डॉक्टर बने और आज दुनिया व भारत में अच्छे डॉक्टरों की बहुत ही आवश्यकता है भारत में भी बहुत सारे स्टूडेंट्स डॉक्टर बनना चाहते हैं लेकिन नंबर ऑफ स्पीड कम होने के कारण स्टूडेंट्स को दूसरे कोर्स इस पर भी निर्भर होना पड़ता है! ए यू सी ने छात्रों को लेकर बहुत ही बढ़िया प्रोग्राम बनाया है जिसे छात्र कर कर अपने सपनो भविष्य को नया माकम देते हैं!अलीशा धंजल ने पूछा कि यूके में एमबीबीएस को एमडी क्यों कहते हैं और इसमें क्या फर्क है ?विलियम मसिवर ने बताया कि अलग-अलग देशों में इस प्रोग्राम को अलग-अलग बोलते हैं भारत में स्टूडेंट ट्वेल्थ के बाद एमबीबीएस में पढ़ाई शुरू कर देती हैं लेकिन यूके में पहले स्टूडेंट को बैचलर डिग्री की पढ़ाई करनी होती है फिर उसके बाद स्टूडेंट्स एमडी की पढ़ाई करते हैं अगर मैं आसान भाषा में कहूं तो भारत के एमबीबीएस और यूके की एमडी डिग्री में काफी फर्क है और यूके से पास आउट एमडी की डिग्री को अमेरिका , भारत, गल्फ कंट्री, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा आदि सभी जगहों पर भी मान्य होती है !अलीशा धंजल ने पूछा कि ए यू सी में एडमिशन लेने का प्रोसेस क्या होता है और स्टूडेंट्स अपनी पढ़ाई कितने समय में खत्म कर लेते हैं ?ए यू सी के डायरेक्टर विलियम ने बताया कि स्टूडेंट के पास में फिजिक्स केमिस्ट्री बायो के विषय होने चाहिए और स्टूडेंटस 50% मार्क्स से बारहवीं में पास होना चाहिए!
उसके बाद स्टूडेंट बैचलर डिग्री में एडमिशन ले सकते हैं और उसके बाद नीट का एग्जाम देने के बाद वह एमडी में एडमिशन लेते हैं या पहले ही नीट का एग्जाम देने के बाद बैचलर डिग्री में एडमिशन ले सकते हैं और उसके बाद मे एमडी करते हैं !विलियम ने बताया कि वैसे तो ए यू सी में एडमिशन लेने के लिए नीट का एग्जाम देकर एडमिशन लेने का जरूरी कंपनसेशन नहीं है लेकिन अगर स्टूडेंट्स बाद में इंडिया में प्रैक्टिस करना चाहते हैं तो उसके लिए जरूरी है कि स्टूडेंट्स नीट का एग्जाम देकर ही एमडी में एडमिशन ले जिससे स्टूडेंट को आगे चलकर कोई भी परेशानी ना हो |अलीशा धंजल ने पूछा कि 5.5 ईयर का प्रोग्राम खत्म करने के बाद स्टूडेंट को आगे क्या करना होता है ?विलियम ने बताया कि बैचलर और एमडी यूनिवर्सिटी की डिग्री लेने के बाद अधिकतर स्टूडेंट्स यूएस असेंबली प्रोग्राम में एडमिशन लेना चाहते हैं उसके 3 लेवल होते हैं और अब तक के रिजल्ट बताते हैं कि 90% स्टूडेंट्स ने यूएसए फैमिली प्रोग्राम को पास किया है उसके बाद स्टूडेंट्स को 3 साल का रेसिडेंसी प्रोग्राम कहूं या ऑन जॉब ट्रेनिंग प्रोग्राम करनी होती है जिसमें स्टूडेंट्स को $50000 सालाना मिलते हैं! अलीशा धंजल ने पूछा कि यूएस में डॉक्टर की स्टार्टिंग सैलेरी पैकेज क्या होता है?विलियम ने बताया कि रेसिडेंसी प्रोग्राम खत्म करने की बात स्टूडेंट की डॉक्टर की स्टार्टिंग पैकेज $123000 सालाना होता है जो कि बहुत बड़ा अमाउंट भारतीय करंसी में|ए यू सी के डायरेक्टर विलियम मसिवर ने आखिर में बताया कि स्टूडेंट्स को ए यू सी में ही आएएडमिशन लेना चाहिए जिससे स्टूडेंट्स बाद में बहुत अच्छा कैरियर बना सकते हैं और उसके साथ में है भारत में भी बहुत स्टार्टिंग पैकेज होता है !करियर कोच अलीशा धंजल ने बताया कि डॉक्टर बनने के लिए यूके में स्टूडेंट्स के लिए ए यू सी सबसे बढ़िया जगह है स्टूडेंटस यहां पर अपने सपनों को साकार कर सकते हैं जो वह सपना सालों से देख कर आ रहे थे और अगर हमारे किसी भी छात्र का कोई सवाल हो या जानकारियां चाहिए हो तो वह हमारे पेज पर मैसेज कर सकते हैं या हमसे संपर्क कर सकते हैं और मै अलीशा धंजल आप लोगो के लिए अपने पेज अलीशा धनजल से स्टूडेंट्स के लिए आगे भी ऑनलाइन वैगनआर करते रहेंगे!

Posted by: | Posted on: July 21, 2020

प्राईवेट सैक्टर में 75 प्रतिशत हरियाणवी युवाओं को आरक्षण देने के मुद्दे पर फरीदाबाद आई एम टी इन्डस्ट्रीज एसोसिएशन ने सौंपा केन्द्रीय मंत्री किशन पाल गुर्जर एवं पृथला विधायक एवं एच एस डबल्यू सी के चेयरमैन नयनपाल रावत को ज्ञापन सौंपा

फरीदाबाद(विनोद वैष्णव)| फरीदाबाद आई एम टी इन्डस्ट्रीज एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने हरियाणवी युवाओं को 75% आरक्षण देने के मुद्दे पर केन्द्रीय मंत्री किशन पाल गुर्जर एवं प्रिथला विधायक एवं एच एस डबल्यू सी के चेयरमैन नयनपाल रावत को ज्ञापन सौंपा । इस विषय पर एसोसिएशन के प्रेसिडेंट वीरभान शर्मा ने कहा कि हम सभी लोग अपने राज्य का विकास चाहते हैं तथा जहाँ तक हो सकता है अपने लोकल कर्मचारियो को रखते है ।लेकिन अगर इस तरह का कानून बनता है तो इन्डस्ट्रीज को बहुत दिक्कतें आ सकती हैं।दो साल से ईंडस्ट्रीज में लिए मंदी चल रहीं थी ऊपर से कोरोना महामारी ने घेर लिया। अभी ईंडस्ट्रीज ढंग से दोबारा चल भी नहीं पाई की इस तरह के कानून कीं बात चल रही है।इससे राज्य में नए उद्योग आने से पहले सोचेंगे तथा चल रहे उद्योगो को भी कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ेगा ।हमारा राज्य कुछ स्टेट्स की बजाए समपन् है तथा हर काम के लिए एम्पलाईज मिलना मुश्किल होता है।खासकर ढलाई, कास्टिंग, डाईंग इत्यादि में हमारे यहाँ के लोग काम करने में कम इच्छुक होते हैं ।सरकार इसमें तिमाही रिटर्न, सक्षम एम्पलाई ना मिलने पर बडे अधिकारीयों से परमीशन, तथा गल्ति पाए जाने पर पांच हज़ार से पांच लाख तक की पेनाल्टी एवं देरी होने पर रोजाना के दंड जैसे कडे प्रावधान रखने पर विचार कर रही है । हमारी सरकार से गुजारिश है कि इस तरह का कोई भी सख्त कानून लाने से पहले ओद्योगिक सगठनों से सलाह मशविरा जरूर करें ताकि इसका दुरुपयोग ना हो सके।इस तरह के कानून से इंपैक्टर राज को बढावा ही नहीं मिलेगा बल्कि अन्य दूरूपयोग भी होंगे। साथ इस तरह की कंडीशन्स को देखकर नये उद्योग आने से पहले सोचेगे ।तथा जो लोग हरियाणा में ईन्डस्ट्री लगाने का मन बना चुके हैं वे भी पुनर्विचार करेंगे ।हमारे यहां स्किल्ड मैनपावर की कमी के कारण उद्योगों की प्रोडक्टीविटी बेहद प्रभावित होगी ।सरकार को चाहिए कि हर इन्डस्ट्रीयल सैक्टर मे एक एक स्किल डवलपमेंट सेंटर खोले जिससे राज्य के ज्यादा से ज्यादा स्किल्ड कर्मचारी तैयार हो सकें।

सरकार इन्ही इंडस्ट्रीज पर सख्त कानून लगाने की बजाए ज्यादा से ज्यादा नई इंडस्ट्रीज लगाने का माहौल तैयार करे, ज्यादा इंडस्ट्रीज होगी तो हमारे यहाँ के लोगों को उनकी पसंद का रोजगार भी मिल जाएगा तथा अन्य काम हमेशा की तरह हमारे देश के दूसरे राज्यों के कर्मचारी भी रोजगार पाते रहेंगे एवं बेरोजगारी अपने आप समाप्त हो जाएगी ।सरकार इसे कानून का रूप ना दे कर मोटीवेशनल प्रोग्राम चलाए, जैसे हरियाणा के नागरिकों को नोकरी पर रखने वाले उद्योगों को इन्डस्ट्री साईड के ई पी एफ का भुगतान अथवा 10 प्रतिशत का इन्सैंटिव इत्यादि।

Posted by: | Posted on: July 21, 2020

बाबा बन्दा वीर बैरागी के 350वें जन्मदिन पर सेमिनार आयोजित हुआ

बाबा बन्दा वीर बैरागी के 350वें जन्मदिन पर सेमिनार आयोजित हुआ

जीन्द(विनोद वैष्णव)| बाबा बन्दा वीर बैरागी के 350वें जन्मदिन पर जीन्द के बुलबुल काम्पलैक्स में एक सेमिनार का आयोजन किया गया। इस सेमिनार में पंजाब औद्योगिक विकास निगम के चैयरमैन कृष्ण कुमार बाबा ने मुख्य अतिथि के तौर पर शिरकत की। जबकि कार्यक्रम की अध्यक्षता विधायक डा. कृष्ण मिढ़ा ने की। इसके अलावा सेमिनार में पूर्व मंत्री रामकिशन बैरागी, अखिल भारतीय अग्रवाल समाज के अध्यक्ष एवं प्रमुख समाज सेवी राजकुमार गोयल, वैष्णव बैरागी परिषद हरियाणा के प्रदेशाध्यक्ष राजकुमार भोला, वैष्णव बैरागी परिषद के राष्ट्रीय महासचिव वीरेंद्र स्वामी, बी आर अंबेडकर ग्रुप ऑफ इंस्टिट्यूट पूंडरी के चेयरमैन यशपाल वालिया विनायक ग्रुप ऑफ कम्पनीज यूगांडा के मुख्य प्रबन्ध निदेशक यमुना प्रसाद पेशवा, अखिल भारतीय वैष्णव बैरागी सेवा संघ के युवा प्रदेश अध्यक्ष मनोज, भारतीय जनता पार्टी जल प्रबंधन प्रकोष्ठ के प्रदेश सह संयोजक मुकेश कुमार शर्मा, बैरागी शिक्षण संस्थान के प्रधान सतेंद्र सिंह, रियल बॉयोग्रीन एग्रो के एमडी जगमहेन्द्र, सुरेश चैहान तलोड़ा, कृष्ण फौजी अहिरका, सज्जन सैनी, स्वर्णकार संघ जींद के अध्यक्ष संजय वर्मा, अंकुर शर्मा, सावर गर्ग, पवन बंसल, रामधन जैन, मुकेश राठौड़, सुरेश लाठर, सौरभ, गौरव वालिया, पवन मान सरपंच, रमेश रजाना, सरदार उमराव सिंह इत्यादि प्रमुख रूप से उपस्थित थे। इस सेमिनार का मंच संचालन डा. नरेश कालीरमण ने किया। इस सेमिनार में हरियाणा के अलावा दूसरे राज्यों से भी प्रतिनिधियों ने शिरकत की।इस अवसर पर कार्यक्रम के आयोजक राजकुमार भोला द्वारा एक मांग पत्र पेश किया गया। जिसमें केन्द्र सरकार, प्रदेश सरकार और जीन्द प्रशासन से मांग की गई। केन्द्र सरकार से मांग की गई की कि बाबा बन्दा वीर बैरागी के जन्मदिन को पूरे देश मे राष्ट्रीय पर्व के रूप में घोषित किया जाए। प्रदेश सरकार से मांग की गई कि प्रदेश किसी बड़े संस्थान, यूनिवर्सिटी और सड़क मार्ग का नाम बाबा बन्दा वीर बैरागी के नाम पर रखा जाए। जीन्द प्रशासन से मांग की गई कि ऐसे महापुरूष की याद में किसी बड़े चैंक का नाम बाबा बन्दा वीर बैरागी के नाम पर रखा जाए। ये सभी मांगे मुख्य अतिथियों के समक्ष रखी गई और उनसे इन मांगो को पूरा करवाने की मांग की गई। इस अवसर पर अपने सम्बोधन में मुख्य अतिथि कृष्ण कुमार बाबा ने कहा कि महापुरूष किसी भी जाति विशेष के नहीं होते। महापुरूष पूरे समाज के लिए आदर्श होते है। इसी तरह बाबा बन्दा वीर बैरागी भी पूरे समाज के लिए थे। उन्हें 9 जून 1716 को दिल्ली में कुतुबमीनार के पास अमानवीय यात्राएं देकर शहीद कर दिया गया और इसी के साथ देश को मुगल शासन ने आजाद कराने की इस महायोद्धा की चुनौती समाप्त हो गई। उस समय जालिम मुगलों ने उनके 4 वर्ष के बेटे अजय सिंह और उनकी पत्नी के साथ 740 साथियों को भी शहीद कर दिया गया था। विधायक कृष्ण मिढा ने कहा कि ऐसे महापुरूषों की जयन्तियों पर हमें संकल्प लेना चाहिए कि हम समाज को जोड़ने का काम करेंगे।