Thursday, November 18th, 2021

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Posted by: | Posted on: November 18, 2021

शिक्षकों की शौचनीय स्तिथि

फरीदाबाद (दीपक शर्मा) :- रायन इंटरनेशनल स्कूल फरीदाबाद के अध्यापकों के साल 2016 से चले आ रहे लंबित अधिकार हनन की ओर ध्यान आकर्षित करना चाहते हैं । युग निर्माता की तथाकथित उपाधि से पुकारे जाने वाले शिक्षकों की वास्तविक स्थिति क्या है। प्राइवेट स्कूलों को भी सीबीएससी तथा शिक्षा विभाग के दिशा निर्देशों का पूर्ण तरह पालन करना होता है । परंतु विद्यालय में शिक्षकों को दिए जाने वाले मानदेय तथा कार्य स्थल वातावरण संबंधी नियमों का उल्लंघन किया जा रहा है । कोविड -19 की विषम परिस्थितियों में अपने स्वयं के सीमित संसाधनों के साथ भी शिक्षकों ने छात्रों की पढ़ाई में कोई व्यवधान नहीं आने दिया ।

विद्यालय की व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने के लिए शिक्षकों द्वारा किए गए सहयोग की तथा योगदान की कोई कीमत नहीं है । परंतु खेद का विषय यह है कि विद्यालय को दिए जाने वाले इस सहयोग के बदले में शिक्षकों को केवल मानसिक व आर्थिक शोषण ही प्राप्त हो रहा है । नियमानुसार पदोन्नति , महंगाई भत्ते , वार्षिक आय वृद्धि , मानवीय दृष्टि से निर्मित टाइम टेबल तथा कार्यभार जैसे आधारभूत अधिकारों पर भी कोई ध्यान देने या बात करने के लिए तैयार नहीं है । विद्यालय प्रबंधकों से बार – बार बात करने का शांति पूर्ण आग्रह करने के बावजूद भी उनके सहयोग पूर्ण रवैये तथा शिक्षकों के साथ बैठकर समस्या का समाधान करने के स्थान पर उन्हें विभागीय कार्यवाही का भय दिखाते हुए नोटिस दिए जा रहे हैं ।

शिक्षकों द्वारा अपने हक की आवाज उठाने के विरोध में प्रबंधक द्वारा उन्हें उनकी तनख्वाह काटे जाने के धमकी भरे मेल भेजे जा रहे हैं । शिक्षकों तथा छात्रों की आधारभूत आवश्यकताओं जैसे स्वच्छ पेयजल तथा स्वच्छ शौचालय की व्यवस्था की ओर भी ध्यान नहीं दिया जा रहा है। इस अव्यवस्था के प्रति अपनी आवाज उठाते हुए शिक्षकों के स्वाभिमान तथा सम्मान के लिए 9 नवंबर 2021 से सत्याग्रह आरंभ किया गया है । इस समस्या के त्वरित समाधान के लिए प्रबंधकों से लिखित आश्वासन की प्राप्ति की अपेक्षा करते हैं ताकि शिक्षण कार्य निर्बाध गति से आरंभ किया जा सके । इसके लिए आप सबका सहयोग अपेक्षित है।

Posted by: | Posted on: November 18, 2021

कल है गुरु नानक जयंती , जानिए क्या है कार्त‍िक पूर्ण‍िमा पर मनाए जाने वाले गुरु पूरब का महत्‍व

फरीदाबाद (पिंकी जोशी) : सिख धर्म के संस्थापक और सिखों के पहले धर्म गुरु गुरुनानक देव जी की जयंती 19 नवंबर को मनाई जाएगी। गुरुनानक देव का जन्म कार्तिक पूर्णिमा के दिन ही हुआ था। इस पवित्र दिन को सिख धर्म के अनुयायी गुरु प्रकाश पर्व/गुरुपरब के रूप में बनाते हैं। गुरु नानक जयंती को सिख धर्म में सबसे पवित्र त्योहारों में से एक माना जाता है।

गुरुद्वारों में आस्था की धूम :-

गुरुपरब के मौके पर गुरुद्वारों व आसपास के इलाकों की साफ-सफाई करने के बाद गुरद्वारों को सजाया जाता है। इसके बाद गुरु पूर्णिमा/प्रकाश पर्व/गुरुपरब के दिन सुबह से नगर कीर्तन के साथ प्रभातफेरी निकाली जाती है। नगर कीर्तन की अगुवाई गुरु पंच प्यारे करते हैं। प्रभातफेरी गुरुद्वारे से शुरू होती है और नगर में फिरने के बाद गुरुद्वारे तक वापस आती है। इसके बाद विशाल लंगर का आयोजन किया जाता है। बताया जाता है कि गुरुनानक जयंती के दो दिन पहले गुरुद्वारों पर गुरु ग्रंथ साहिब के अखंड पाठ का आयोजन किया जाता है। गुरुपरब पर दो दिन तक होने वाले महोत्सव पर लोग जगह-जगह कीर्तन और लंगर का आयोजन करते हैं।

सिखों के लिए गुरु नानक जयंती बहुत बड़ा त्यौहार होता है। यह दीपावली की तरह ही धूमधाम से मनाया जाता है। गुरु नानक जयंती को गुरु पर्व, प्रकाश पर्व या गुरु पूरब के नाम से भी बुलाया जाता हैं। इस साल यह 19 नवंबर दिन शुक्रवार को मनाया जाएगा। जानकारों के मुताबिक इसी दिन सिखों के प्रथम गुरु गुरु नानक देव जी का जन्म हुआ था। यह हर साल कार्तिक मास की पूर्णिमा तिथि को धूमधाम से मनाया जाता है। आपको बता दें, गुरु नानक देव जी ने ही सिख धर्म की स्थापना की थी। इस दिन सिख धर्म के लोग प्रभात फेरी लगाकर गुरुद्वारे में मत्था टेकते हैं।

गुरु नानक जयंती का महत्व :-

सिखों का विशेष पर्व कार्त‍िक पूर्णिमा के दिन मनाया जाता है। गुरु नानक देव जी का जन्म कार्तिक पूर्णिमा के दिन हुआ था और इसी कारण इस दिन को प्रकाश पर्व के रूप में मनाया जाता है। सिखों के प्रथम गुरु नानक देव जी का जन्म 1469 को राय भोई की तलवंडी में हुआ था, जो अब पाकिस्तान के पंजाब प्रांत स्थित ननकाना साहिब में पड़ता है। इस जगह का नाम ही गुरु नानक देव जी के नाम पर पड़ा है।

गुरु नानक जयंती पर गुरुद्वारे में शबद-कीर्तन के साथ भक्तों के लिए लंगर लगता है। इस दिन गुरुद्वारे में रुमाला चढ़ाने का रिवाज होता है। इस दिन भक्त अपनी श्रद्धा से गुरुद्वारे में कोई न कोई सेवा जरूर देते हैं। यहां सेवा का अवसर पाना बहुत पुण्य माना जाता है। साथ ही इस दिन गुरबाणी का पाठ करते हैं।

नोट : सभी जानकारिया सोशल मीडिया द्वारा एकत्रित की गयी है।

Posted by: | Posted on: November 18, 2021

एसटीएफ ने एक ट्रांसपोर्टर को आर्म्स एवं कारतूस के साथ किया गिरफ्तार

कुल्टी (वसीम खान) : रांची एटीएस की टीम द्वारा मंगलवार की संध्या चिरकुंडा के पूरे क्षेत्र की नाकाबंदी कर पश्चिम बंगाल के ट्रांसपोर्टर कामेन्द्र सिह को दो लोडेड पिस्टल के साथ 12 कारतूस समेत शहीद चौक चिरकुंडा से पिछा करते हुए बंगाल घुसने के पूर्व चिरकुंडा बराकर चेकनाका पर धर दबोचा लिया। इस संबध मे स्थानिय पुलिस के अधिकारी किसी भी तरह की सुचना देने से स्पष्ट इंकार कर रहे है। सांकेतिक तौर पर किसी गहरी साजिश मे शामिल होने की बात सिर्फ कह रहे है। पुलिस सुत्रो के अनुसार कामेन्द्र सिह आर्म्स सप्लाई का कार्य करता है और झारखंड के प्रतिबंधित संगठन से भी उसके ताल्लुकात होने की बात सामने आ रही है।

उग्रवादियो को हथियार सप्लाई करने का कार्य करता है। पुलिस ने सांकेतिक रूप मे यह बात स्वीकार की सब कुछ खुलासा बताने से मिशन पर गहरा प्रभाव पड सकता है और लोग भी इस कार्य मे संलिप्त है। जिनको लेकर पुलिस अपना कार्य गुप्त रूप से कर रही है। एसटीएफ की टीम द्वारा कामेन्द्र सिह को रात मे ही चिरकुंडा थाना से लेकर चली गयी, सिह की बुलेट गाडी भी पुलिस ने जब्त कर ली है। सिह का संबध धनबाद के राजनेताओ से भी है तथा धनबाद के ऊंचे घराने से भी ताल्लुकात है। यह मुख्यतः ट्रांसपोर्टर व्यवसायी है ,प्रतिदिन की भांति मंगलवार को अपनी बुलेट मोटरसाईकिल से चिरकुंडा से डिसरगढ प.बंगाल की और जाने के क्रम मे एसटीएफ के हाथ लग गये। एसटीएफ की टीम सुबह से ही स्थानिय पुलिस के टीम के साथ विसात बिछा रही थी और संध्या सात बजे कामेन्द्र को पकड लिया गया। रात 11 बजे तक एसटीएफ व स्थानिय इन्सपेक्टर दिलिप यादव के द्वारा बंद कमरे मे पुछताछ की जा रही थी, किसी पुलिस अधिकारी को पुरे मिशन की खबर नही थी और कामेन्द्र के विरूद्ध चिरकुंडा थाना मे किसी तरह का मामला भी दर्ज नही किया गया।