एमवीएन विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ लॉ के छात्रों ने भारतीय संसद के लोकसभा, राज्यसभा व सेंट्रल हॉल में होने वाली कार्यवाहीयों को वहां जाकर समझा

0
20190228_132545

पलवल (विनोद वैष्णव ) | एमवीएन विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ लॉ ने समाज में अधिवक्ताओं के योगदान व उनकी भूमिका और विधि के बनने की प्रक्रिया व उसकी व्याख्या को समझने के लिए विधि के विद्यार्थियों को देश की संसद, उच्चतम न्यायालय व दिल्ली के उच्च न्यायालय का विधिक भ्रमण विगत दिनों में करवाया।इस अवसर पर विभागाध्यक्ष डॉ राहुल वार्ष्णेय ने बताया कि लोकतंत्र व समाजवाद, संवैधानिक ढांचे की मूल भावना है। असमानता व अन्याय को दूर करने के लिए और समाज की विधिक जरूरतों को पूरा करने के लिए विलक्षण प्रतिभा के धनी अधिवक्ताओं का कोई विकल्प नहीं है। अधिवक्ता ही समाज की जटिल समस्याओं का समाधान ढूंढने, जनता के अधिकारों व स्वतंत्रताओं की सुरक्षा व विधि के मापदंडों को स्थापित रखने में न्यायिक प्रशासन में अग्रणी भूमिका निभाता है।इसी भावना के साथ, विधि बनने की प्रक्रिया, विधियों के निर्वाचन की बारीकियों को समझने के लिए स्कूल ऑफ लॉ के 200 विद्यार्थियों को दिल्ली स्थित भारतीय संसद के लोकसभा, राज्यसभा व सेंट्रल हॉल में होने वाली कार्यवाहीयों को वहां जाकर समझा। वहीं देश के सर्वोच्च अदालत उच्चतम न्यायालय व दिल्ली उच्च न्यायालय में भी विद्यार्थियों ने विधि की व्याख्या की बारीकियों को भी समझा।इस अवसर पर डॉ रामवीर सिंह, डॉ अनु मेहरा, अजय कुमार, शबाना विधि प्रवक्ताओं के साथ जगबीर सौरत,हर्षिता अग्रवाल, राकेश रावत, यशविंदर रावत, श्वेता शर्मा, भाग्यश्री, चाणक्य शर्मा, लीना मंगला, रिजवान, मुवीन,शाहून, पूनम, मनीषा, नेहा आदि विद्यार्थियों ने विधिक भ्रमण किया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *