फरीदाबाद (पिंकी जोशी) : डीएवी शताब्दी महाविद्यालय में एनएसएस और वाईआरसी द्वारा राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस का अयोजन किया गया। महाविद्यालय की कार्यकारी प्राचार्या डॉ अर्चना भाटिया ने बच्चों को प्रेरित करते हुए कहा कि बेहतर साफ-सफाई के जरिये बच्चों को कृमि संक्रमण से बचाया जा सकता है। भोजन से पहले और भोजन के बाद में हाथ धोने, स्वच्छ पानी पीने, खुले में शौच ना करना आदि के जरिये परजीवी कृमि संक्रमण को रोका जा सकता है |
इस कार्यक्रम के माध्यम से पीओ बॉयज यूनिट डॉ जितेंद्र ढुल, पीओ गर्ल्स यूनिट मिस कविता शर्मा ने बच्चों को बताया कि बच्चो के पेट मैं होने वाला यह कीड़ा बच्चे के शारीरिक और मानसिक विकास पर प्रतिकूल प्रभाव डाल सकता है। उन्नीस वर्ष से कम आयु वर्ग के सभी बच्चों व युवाओं को पंजीकृत चिकित्सको की सलाह से छह महीने में एक बार एल्बेंडाजोल टैबलेट लेनी चाहिए। इस दवा के सेवन से बच्चों का बेहतर बौद्धिक विकास, शारीरिक स्वास्थ्य, एनीमिया की रोकथाम व रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती हैं। इस दवा का सेवन सुरक्षित है। मौके पर मौजूद लगभग 500 छात्रों को एल्बेंडाजोल की टैबलेट खिलाई गई |
महाविद्यालय के फार्मासिस्ट प्रवीण कुमार ने बच्चों को प्रोत्साहित करते हुए बताया कि पेट में कृमि होने के कारण बच्चो का पढ़ने में मन नहीं लगना, खाने में रुचि घटना या अधिक भोजन करना परन्तु शारीरिक वृद्धि नहीं होना आदि इसके प्रमुख लक्षण हैं। ऐसे लक्षणों के प्रति प्रत्येक माता पिता को जागरूक रहना चाहिए। इस कार्यक्रम में वाईआरसी काउंसलर बॉयज विंग दिनेश कुमार, वाईआरसी काउंसलर गर्ल्स विंग ओमिता जोहर, पीआरओ वीरेंद्र सिंह व अन्य शिक्षकगण ने भाग लिया।